श्रीमद्भागवत कथा को सुनने से होता है हर पापों का नाश : आचार्य नंदकिशोर त्रिवेदी

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कंचौसी : के मधवापुर गांव में शुरू हुई साप्ताहिक कथा

सुखदेव व परीक्षित का प्रसंग

भारत प्राइम न्यूज चैनल संवाददाता विपिन गुप्ता कंचौसी औरैया उत्तर प्रदेश।

जनपद औरैया तहसील बिधूना ब्लाक सहार के कंचौसी कस्बा क्षेत्र के मधवापुर गांव में साप्ताहिक श्रीमद्भागवत कथा ज्ञान यज्ञ का आयोजन किया गया है। कल मंगलवार को प्रथम दिन की श्रीमद्भागवत कथा आरंभ की गई। जिसमें आचार्य पंडित नंदकिशोर त्रिवेदी ने कहा कि जन्म-जन्मांतर एवं युग-युगांतर में जब पुण्य का उदय होता है। तब कहीं जाकर ऐसा अनुष्ठान होता है। श्रीमद्भागवत कथा एक अमर कथा है। इसको सुनने से पापी भी पाप से मुक्त हो जाते हैं। उन्होंने कहा है कि वेदों का सार युगों-युगों से मानवजाति एक पहुंचाता रहा है। श्रीमद्भागवत पुराण उसी सनातन ज्ञान की पयस्विनी है, जो कि वेदों से ही प्रवाहित होती चली आई है। इसलिए श्रीमद्भागवत महापुराण को वेदों का सार कहा गया है। आचार्य पंडित नंदकिशोर त्रिवेदी ने प्रथम दिवस की कथा श्रीमद्भागवत महापुराण का बखान किया। कहा कि सबसे पहले सुखदेव मुनि ने राजा परीक्षित को भागवत कथा सुनाई थी। उन्हें सात दिनों के अन्दर तक्षक के दंश से मृत्यु का श्राप मिला था। उन्होंने कहा कि श्रीमद्भागवत महापुराण की कथा अमृत पान करने से संपूर्ण पापों का नाश हो जाता है। श्रीमद्भागवत कथा मोक्षदायिनी है। यह व्यक्ति के सभी पापों का नाश होकर मुक्ति मार्ग प्रशस्त करती है। यह कथा सभी प्राणियों के लिए मंगलकारी है।

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